बुलंदशहर/मथुरा। वृंदावन के दो सगे भाइयों की गंगा में स्नान करते समय डूब कर मौत हो गई।परिजनों ने पुलिस प्रशासन की व्यवस्था पर सवाल उठाते हुए शवों को नेशनल हाइवे पर रख जाम लगा दिया। पुलिस ने किसी तरह उन्हें समझा बुझाकर शांत किया। इसके बाद बिना किसी कानूनी कार्यवाही के एंबुलेंस से शव वृन्दावन ले आये । वृन्दावन में शव पहुंचते ही हा -हाकर मच गया। गमगीन माहौल में सगे भाइयों का अंतिम संस्कार किया गया। राजघाट नरौरा पर अमावस स्नान पर्व पर वृंदावन के मोहल्ला किशोरपुरा गौतमपाड़ा निवासी चंद्र प्रकाश (चंदू कलई वाले) अपने पुत्र महेंद्र, बालकिशन, राधा किशन, पूरन, रामकिशन, बृजेश समेत अपने भाई गोपीराम व उनके पुत्र सहित अन्य पूरे परिवार के साथ बस से अमावस्या स्नान को राजघाट पर अपने पितरों की तृप्ति व जल देने के लिए स्नान को आए थे। इस दौरान उनके साथ आए कुछ युवक एक मोटरवोट से गंगा के दूसरे छोर स्थित टीले पर जाकर स्नान करने लगे। इसी दौरान 19 वर्षीय गौरव व 18 वर्षीय सौरभ पुत्रगण राधेकृष्ण गंगा में डूब गए। वहां मौजूद लोगों ने उन्हें निकालने का प्रयास किया लेकिन सफलता नहीं मिली। नरौरा थाना पुलिस ने कड़ी मशक्कत के बाद दोनों युवकों को बाहर निकाला। पुलिस दोनों युवकों को लेकर डिबाई के सामुदायिक स्वास्थ केंद्र पहुंची, जहां सही इलाज न मिलने की शिकायत पर पुलिस दोनों को एक निजी अस्पताल ले गई, जहां डाक्टरों ने गौरव व सौरभ को मृत घोषित कर दिया। दोनों सगे भाइयों की मौत के बाद परिजनों का रो-रोकर बुरा हाल था। परिजनों ने पोस्टमार्टम कराने से इनकार कर दिया। दोनों भाइयों की मौत से स्वजन का आक्रोश मुखर हो गया। उन्होंने गंगा किनारे कोई संकेतिक चिन्ह बोर्ड आदि न लगाने व पुलिस की कोई व्यवस्था न होने पर नाराजगी जताते हुए जमकर हंगामा किया।
इस दौरान पुलिस ने दोनों युवकों के शवों को मारूति वैन से वृंदावन भेजने का प्रयास किया लेकिन परिजन एंबुलेंस में शव ले जाने की मांग करने लगे। एंबुलेंस देर से आने पर स्वजन फिर से हंगामा करते हुए नेशनल हाइवे पर शवों को रख कर जाम लगा दिया और पुलिस प्रशासन के खिलाफ नारेबाजी की। कोतवाली प्रभारी निरीक्षक दिलीप सिंह व प्रभारी निरीक्षक नरौरा ने स्वजन को समझाबुझाकर एंबुलेंस से दो भाइयों के शवों को वृंदावन भेज दिया। दिल्ली-बदायूं हाईवे पर परिजनों द्वारा शव रख जाम लगाने से सड़क के दोनों ओर वाहनों की लंबी कतारें लग गईं। परिजनों के द्वारा शव ले जाए जाने के बाद पुलिस ने यातायात को सुचारु किया। जाम के दौरान लोगों को काफी परेशानियों का सामना करना पड़ा। मृतक गौरव (18) इंटरमीडिएट का छात्र था तो छोटा भाई सौरभ (16) नवीं का छात्र था। परिवार में सभी दोनों को राम-लक्षमण की जोड़ी कहते थे। दोनों पुत्रों की मौत पर मां बेसुध थी। मृतक के पिता राधा किशन ने बताया कि वह मजदूर है। वृन्दावन के गौतम पाड़ा में दोनो भाइयों के शव पहुंचते ही हाहाकर मच गया। नगर में शोक की लहर डूब गयी। मां बाप का रो रो कर बुरा हाल था।
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