अख़बारी कागज को जीएसटी मुक्त कराने हेतु जीएसटी काउंसिल को संदर्भित किया जाएगा
सीबीसी पैनल एडवाइजरी कमेटी को पुनर्गठित करने का आश्वासन
नई दिल्ली । समाचार पत्रों के लिए प्रेस सेवा पोर्टल की जटिलताओं सहित वर्तमान अनेकों समस्याओं के निराकरण के संबंध में देश के शीर्ष समाचार पत्र एसोसिएशन व भारतीय प्रेस परिषद सदस्य के छह सदस्यों के प्रतिनिधि मंडल ने देश के सचिव सूचना एवं प्रसारण मंत्रालय भारत सरकार आईएएस संजय जाजू के साथ समाचार पत्रों की समस्याओं को लेकर मुलाकात की। श्री जाजू ने सभी मुद्दों को गंभीरता से सुनने के पश्चात उक्त मांगों के संबंध में सहानुभूति पूर्ण आश्वासन देते हुए कहा कि हमारा उद्देश्य कतई नहीं कि छोटे और मध्यम श्रेणी के अखबारों के सामने किसी तरह की समस्या पैदा हो बल्कि हमारा उद्देश्य है कि प्रक्रिया को सरलीकृत कर सभी को राहत दी जाएगी । यदि नए पोर्टल में कुछ खामियां हैं तो उनको दूर किया जाएगा । ऑल इंडिया स्माल एंड मीडियम न्यूज पेपर फेडरेशन के राष्ट्रीय अध्यक्ष एवं प्रेस काउंसिल ऑफ इंडिया के वरिष्ठ सदस्य सरदार गुरिंदर सिंह ने छोटे और मंझौले अखबारों की अनेकों समस्याओं पर चर्चा की ।
अखिल भारतीय समाचार पत्र संगठन के राष्ट्रीय अध्यक्ष अखिलेश चंद शुक्ला ने कहा कि जब तक प्रेस सेवा पोर्टल की जटिलताओं को दूर न किया जाए तब तक पुरानी प्रणाली से ही प्रकाशकों को एनुअल रिटर्न भरने की व्यवस्था की जाए । प्रेस काउंसिल के सदस्य एल. सी. भारतीय ने प्रेस संबंधी मामले पर बात की और कहा कि ज्यादातर प्रेस वाले नई नियमावली को लेकर विरोध जता रहे हैं और उसमें बहुत से लोगों का जी.एस.टी. भी नहीं है । उनकी काम की सीमा भी जी.एस.टी. के दायरे से बाहर है । उक्त विषय पर सचिव ने संबंधित अधिकारियों को निर्देशित किया कि इस समस्या को दूर करें ।
ऑल इंडिया स्मॉल और मीडियम न्यूजपेपर फेडरेशन के राष्ट्रीय महासचिव अशोक नवरत्न ने छोटे मंझौले अखबारों से जी.एस.टी. हटाने हेतु अपना पक्ष रखा, उन्होंने कहा कि प्रेस काउंसिल आफ इंडिया ने जीएसटी काउंसिल को इस संबंध में कई बार नोटिस किया किंतु आज तक इस संबंध में कोई सार्थक कार्रवाई नहीं हुई इस संबंध में सचिव श्री जाजू ने पूछा कि क्या जीएसटी से पहले अखबारों के कागज खरीद पर सेल टैक्स नहीं लगता था अगर नहीं तो हम आपकी समस्या पर विचार करेंगे ।
ऑल इंडिया स्माल एंड मीडियम न्यूजपेपर्स के उत्तर प्रदेश प्रभारी आसिफ जाफरी विक्रांत और प्रदेश उपाध्यक्ष आशीष शर्मा ने कहा कि छोटे और मंझौले अखबारों का विज्ञापन सी.बी.सी. द्वारा पूर्णतया बंद कर दिया गया है । यहां तक की प्रमुख अवसरों पर भी कोई विज्ञापन नहीं जारी किया जा रहा है तो ऐसी स्थिति में जब कि छोटे बड़े पर नियम समान रूप से लागू हैं और सभी समान रूप से नियमों का अनुपालन भी कर रहे हैं तो आखिर छोटों के साथ सौतेला व्यवहार क्यों ?
वार्ता के अंत में सूचना प्रसारण मंत्रालय के सचिव संजय जाजू ने कहा कि सेंट्रल प्रेस प्रत्यायन समिति का शीघ्र गठन किया जाएगा और समिति गठित होने तक वर्तमान समिति का कार्यकाल बढ़ा दिया गया है । उन्होंने केंद्रीय संचार ब्यूरो से छोटे एवं मध्यम समाचार पत्रों को विज्ञापन दिलाने तथा सीबीसी के पैनल एडवाइजरी कमेटी को नियमानुसार पुनर्गठित करने का भी आश्वासन दिया। सी.बी.सी. की विज्ञापन दरों की वृद्धि के मामले पर भी उन्होंने कहा संदर्भित प्रकरण में शीघ्र निर्णय कर दिया जाएगा।